दिल्ली शराब नीति से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को झटका लगा है. केजरीवाल की जमानत याचिका के खिलाफ दिल्ली हाईकोर्ट ने कहा कि सुनवाई होने तक निचली अदालत के आदेश पर रोक लगी रहेगी. यानी कि केजरीवाल जब तक तिहाड़ जेल से रिहा नहीं होंगे जब तक कि हाईकोर्ट मामले की सुनवाई नहीं कर लेता।
दिल्ली हाईकोर्ट ने अरविंद केजरीवाल को दी गई जमानत के खिलाफ ईडी की याचिका पर तत्काल सुनवाई की अनुमति दी. हाईकोर्ट ने कहा, ”जब तक हम मामले की सुनवाई नहीं कर लेते तब तक निचली अदालत का आदेश प्रभावी नहीं होगा.”
दिल्ली उच्च न्यायालय ने शुक्रवार को उनकी जमानत पर रोक लगा दी, जिसके एक दिन बाद एक ट्रायल कोर्ट ने उन्हें अब खत्म हो चुकी उत्पाद शुल्क नीति से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में राहत दी थी। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने राउज एवेन्यू कोर्ट के जमानत आदेश को चुनौती दी थी.
न्यायमूर्ति सुधीर कुमार जैन और न्यायमूर्ति रविंदर डुडेजा की अवकाश पीठ ने ट्रायल कोर्ट की कार्यवाही को प्रभावी ढंग से रोकते हुए कहा, “जब तक उच्च न्यायालय मामले की सुनवाई नहीं करता, तब तक रुकें। ट्रायल कोर्ट (राउज़ एवेन्यू) के समक्ष कोई कार्यवाही तब तक शुरू नहीं होगी जब तक कि दिल्ली उच्च न्यायालय सुनवाई नहीं कर लेता।”
राउज एवेन्यू अदालत में गुरुवार को न्यायमूर्ति न्याय बिंदु की अवकाश पीठ ने केजरीवाल को जमानत दे दी, साथ ही आदेश पर 48 घंटे की रोक लगाने के ईडी के अनुरोध को भी खारिज कर दिया।
ईडी का प्रतिनिधित्व कर रहे अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल (एएसजी) एसवी राजू ने दिल्ली उच्च न्यायालय को सूचित किया कि एजेंसी को अपना मामला पेश करने का उचित अवसर नहीं दिया गया। राजू ने कहा, “आदेश अभी तक अपलोड नहीं किया गया है। हमें विरोध करने का उचित अवसर नहीं मिला है।”
ईडी और अरविंद केजरीवाल ने क्या दलील दी?
ईडी ने हाईकोर्ट में याचिका दायर करते हुए दलील दी कि निचली अदालत में हमको बात रखने का मौका ही नहीं मिला. वहीं, इसके जवाब में केजरीवाल के वकील ने कहा कि ये कहना सही नहीं है।
दरअसल, निचली अदालत ने गुरुवार (20 जून, 2024) को ही आम आदमी पार्टी (AAP) के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल को दिल्ली आबकारी नीति से जुड़े मामले में जमानत दी थी।
ऐसे में केजरीवाल शुक्रवार (21 जून, 2024) को तिहाड़ जेल से बाहर आ सकते थे, लेकिन हाईकोर्ट ने सुनवाई होने तक फिलहाल रोक लगा दी है ।
ईडी ने दिल्ली हाई कोर्ट केजरीवाल की बेल के खिलाफ दायर याचिका में कहा है कि दिल्ली सीएम की जमानत से इस केस पर असर पड़ सकता है।
ईडी ने दिल्ली हाई कोर्ट से कहा है कि केजरीवाल की जमानत पर तुरंत रोक लगाई जाए। ईडी चाहती है कि दिल्ली हाई कोर्ट राउज एवेन्यू कोर्ट के आदेश पर तुरंत रोक लगाए।
ईडी की ओर से पेश वकील एसवी राजू ने कहा कि कल रात 8 बजे जमानत का फैसला सुनाया गया। आदेश अपलोड भी नहीं किया गया और न ही हमें बेल को चुनौती देने के लिए उचित मौका दिया गया।
ईडी ने गुरुवार को कोर्ट में दलील थी कि अपराध से हुई कथित कमाई और सह आरोपियों के साथ केजरीवाल जुड़े हुए हैं. वहीं, केजरीवाल के वकील ने कहा था कि केंद्रीय जांच एजेंसी के पास इसको लेकर कोई सबूत नहीं है. ऐसे में जमानत दी जानी चाहिए ।
आरोप
ईडी ने दावा किया है कि दिल्ली शराब नीति में हुई गड़बड़ी के मुख्य साजिशकर्ता अरविंद केजरीवाल हैं। इस पूरे मामले में AAP के कई अन्य नेता भी शामिल रहे हैं। इसको AAP ने नकारते हुए कहा था कि राजनीतिक बदले की भावना के तहत ये सब हो रहा है ।
AAP ने क्या कहा
AAP की नेता आतिशी सहित अन्य नेताओं ने ईडी के दावे पर कहा कि केजरीवाल को गिरफ्तार बदले की राजनीति के तहत किया गया है, लेकिन लोग हमारे साथ हैं. इसका जवाब देंगे. केजरीवाल को ईडी ने 21 मार्च को गिरफ्तार किया था।