सांसद विक्रमजीत सिंह साहनी ने अपने खर्च पर ओमान में फंसी पंजाबी लड़कियों को बचाने और वापस लाने के लिए मिशन होप शुरू किया। सांसद विक्रमजीत सिंह साहनी ने श्री हरिमंदिर साहिब में माथा टेकने के बाद ओमान में फंसी पंजाबी लड़कियों को व्यक्तिगत रूप से जुर्माना व मुआवजा देकर इन गरीब लड़कियों को वापस लाने के लिए मिशन होप शुरू किया है। साहनी ने मस्कट में भारतीय राजदूत के साथ समन्वय स्थापित कर इन गरीब पंजाबी लड़कियों की सकुशल वापसी के लिए जुर्माना व मुआवजा राशि का भुगतान कर स्वयं इस मुद्दे को हल करने का निर्णय लिया है। उन्होंने कहा कि यह मेरा नैतिक कर्त्तव्य है कि मैं ऐसी जरूरतमंद लड़कियों की मदद करूं, जो खराब आर्थिक स्थिति के कारण अपना घर छोड़ने को मजबूर हैं और इस तरह धूर्त एजेंटों द्वारा उनका गैंगरेप किया जाता है।
उन्होंने कहा कि कुछ लड़कियां पर्यटक वीजा पर जाती हैं, जो 30 दिनों में समाप्त हो जाती हैं और अवैध अप्रवासी बन जाती हैं और बिना वैध दस्तावेजों के रहने के लिए मजबूर हो जाती हैं, जिससे उन्हें एजैटों और शेखों द्वारा शोषण का शिकार बनाया जाता है। यहां तक कि वर्क वीजा वाली महिलाओं को भी परेशान किया जाता है और उन्हें अपना कार्यस्थल छोड़ने के लिए मजबूर किया जाता है। उन्होंने कहा कि ये महिलाएं तब तक घर नहीं लौट सकतीं, जब तक कि ओमान की अदालतों द्वारा वीजा की अवधि समाप्त होने के बाद ठहरने पर जुर्माना नहीं लगाया जाता या उनके प्रायोजक पैसे लेकर उनकी नौकरी की गारंटी जारी नहीं करते।
उन्होंने कहा कि कुछ मामलों में, ओमानी लेबर विभाग वहां के स्थानीय भारतीय मिशनरी के अनुरोध पर इस जुर्माने को माफ भी कर देता है। इनमें से अधिकांश लड़कियों पर वीजा नियमों का उल्लंघन करने के लिए भारी जुर्माना लगाया गया है और वर्क वीजा के मामले में उनके मालिक मुआवजे की मांग के बिना अनापत्ति प्रमाण पत्र नहीं देते हैं, जो एक सौ रियाल यानि करीब अढ़ाई लाख रुपए है। उन्होंने कहा कि वह विदेश मंत्रालय और राज्य सरकार के समक्ष अलग से लाइसैंसी और प्रतिबंधित एजैंटों पर पूर्ण प्रतिबंध लगाने के लिए मामला उठाएंगे और यह भी जोर देंगे कि संबंधित उपायुक्त लाइसेंस प्राप्त एजैंटों की गतिविधियों पर कड़ी नजर रखें। उन्होंने लोगों से यह भी अपील की कि वे ऐसे एजैंटों के पास जाने से पहले उनके रिकॉर्ड की जांच कर लें ताकि बाद में उन्हें इस तरह का कष्ट न उठाना पड़े।