शहर के मेन बाजार में रविवार रात उस समय अफरा-तफरी मच गई, जब छह दुकानों को अचानक आग लग गई। इससे पहले कि कोई कुछ समझ पाता, आग ने भयानक रूप ले लिया।
देखते ही देखते आग बुरी तरह से भड़क उठी। सूचना मिलते ही दुकानदार मौके पर पहुंच गए और आग बुझाने का प्रयास शुरू कर दिया। इस बीच फायर ब्रिगेड को सूचना दी गई।
शॉर्ट सर्किट को बताया जा रहा आग लगने का कारण
दुकानदारों का आरोप है कि पहले तो फायर ब्रिगेड देरी से मौके पर पहुंची और पानी वाली पाइप लीक हो रही थी। इसके चलते सही ढंग से बचाव कार्य नहीं हो पाया। अगर समय पर आग पर काबू पा लिया जाता तो नुकसान कम हो सकता था। आग लगने का कारण शॉर्ट सर्किट बताया जा रहा है।
हर दुकान का करीब 15 से 20 लाख का नुकसान हुआ है। वहीं दुकानदारों ने मुआवजे की मांग को लेकर सोमवार को बाजार बंद रखा। इस दौरान सड़क के दोनों तरफ रस्सियां लगाकर बाजार बंद कर दिया गया।
दुकानदारों ने बताया कि रोजाना की तरह रात को बाजार बंद होने पर वे दुकानें बंद कर घर चले गए थे। रात करीब नौ बजे पता चला कि दुकानों में आग लग गई है। इसके बाद वे तुरंत मौके पर पहुंचे। उस समय तक आग ने आस-पास की करीब छह दुकानों को चपेट में ले लिया था।
दुकानदारों ने खुद आग बुझाने का प्रयास किया। इस बीच फायर ब्रिगेड को फोन किया गया, लेकिन वह काफी देरी के साथ पहुंची, जिसके चलते आग बुरी तरह से भड़क उठी।
इन स्टोर्स को हुआ नुकसान
आग के कारण राधा स्वामी पर्स स्टोर, जगदीश टेलर, मद्रास क्लाथ हाउस, सरना कम्युनिकेशन, माधव कलेक्शन, कौशल क्लेकशन रेडीमेड दुकान और ब्रदर्स आर्टिफिशियल ज्यूलरी दुकानें बुरी तरह से जल गईं। पीड़ित दुकानदारों में वरुण मल्होत्रा, पिंका, जगदीश, मोहित सरना, गोपाल, अशोक कौशल और गोल्डी शामिल हैं।
दुकानदारों में रोष है कि लगातार शार्ट सर्किट के कारण दुकानों को आग लगने की घटनाएं सामने आ रही हैं, लेकिन कोई भी प्रशासनिक अधिकारी मौके पर नहीं पहुंचा। आज तक किसी ने पीड़ित दुकानदारों की सुध नहीं ली है। इससे गुस्साए दुकानदारों ने चेंबर ऑफ कॉमर्स के बैनर तले बाजार बंद कर दिया और एंट्री प्वाइंट पर रस्सियां बांध दी। उनकी मांग है कि पीड़ित दुकानदारों को मुआवजा दिया जाए।
दुकानों में आग के कारण हुआ करोड़ों का नुकसान
चेंबर ऑफ कॉमर्स के प्रधान विकास महाजन ने कहा कि शहर में लगातार शार्ट सर्किट के कारण दुकानों को आग लगने की घटनाएं सामने आ रही हैं, जिससे करोड़ों का नुकसान झेलना पड़ रहा है, लेकिन प्रशासन मुआवजा देने को लेकर कोई कार्रवाई नहीं करता।
आगजनी की घटनाओं के कारण दुकानदार अर्श से फर्श पर पहुंचते जा रहे हैं, लेकिन कोई भी प्रशासनिक अधिकारी उनकी सुध लेने के लिए मौके पर नहीं पहुंचा है। प्रशासन ने कभी भी दुकानदारों को थोड़ा बहुत मुआवजा दिलाने का प्रयास नहीं किया। इसी रोष में बाजार बंद रखा गया है।
देरी से पहुंची फायर ब्रिगेड
भाजपा नेता परमिंदर गिल ने बताया कि फायर ब्रिगेड करीब पौने घंटे की देरी से मौके पर पहुंची। अगर समय पर आग पर काबू पा लिया जाता तो नुकसान कम होना था। आग शार्ट सर्किट के कारण लगी थी, जिसकी पूरी जिम्मेदारी प्रशासन और बिजली विभाग की बनती है। दुकानदार पहले कोरोना और फिर आनलाइन शापिंग की मार झेल रहे हैं। प्रशासन का कोई भी अधिकारी दुकानदारों का हाल जानने मौके पर नहीं पहुंचा है।