इस मौके पर संबोधन करते हुए सी.एम. मान ने कहा कि भगत कबीर जी ने मानवता के लिए गहरा संदेश दिया है। भगत कबीर जी ने गरीब परिवार में पैदा होकर ऐसी रचनाएं की है कि आज 626 साल बाद भी हम उन्हें याद करे हैं।
उनकी सोच के कारण ही आज हम यहां बैठे हैं। मुख्यमंत्री मान ने कहा कि आज भी हमारे समाज में ऊंच-नीच है। साइंस की तरक्की के बावजूद भी हमारे मनों में एक दूसरे से ऊंच-नीच का व्यवहार नहीं गया है।
भगत कबीर जी अपने हाथों से काम करते थे। मुख्यमंत्री ने कहा कि इंसान को भगत कबीर जी के संदेश के अनुसार काम लटका कर नहीं रखने चाहिए बल्कि समय पर खत्म कर लेने चाहिए।
उन्होंने विरोधियों पर साधते हुए कहा कि पहले वाले तो फाइलें साइन ही नहीं करते थे और लोग भटकते रहते थे। मुख्यमंत्री ने कहा कि आज हमारे पूरे समाज को जरूरत है एकता और मानवता की।
भगवान की चक्की थोड़ी धीमी चलती है पर पीसती बहुत बारीक है। इससे पहले की भगवान की चक्की चले खुद को सुधार लें।
सी.एम. मान ने कहा कि वह लोगों की मजबूरी को मर्जी में बदलना चाहते हैं। वह 6 महीने के अंदर लोगों की मजबूरी को मर्जी में बदल देंगे। वह टीम के साथ मिल कर स्कूलों को इतना शानदार बना देंगे कि आपकी मर्जी होगी कि बच्चे को कहां पढ़ाना है।
इसी तरह अस्पतालों को भी बेहतर बनाया जाएगा। इसके साथ ही सी.एम. मान ने कहा कि कोई भी नीला-पीला कार्ड आपके घर की गरीबी दूर नहीं कर सकता पर अगर आप अपने बच्चों को पढ़ाएंगे तो व घर की गरीबी जरूर दूर कर देंगे।
उन्होंने बताया कि पंजाब के 158 बच्चों ने जे.ई.ई. एग्जाम पास किया है और आने वाले समय में और बच्चों को भी कोचिंग दी जाएगी। उन्होंने कहा कि पंजाब में अब तक 43 हजार से अधिक नौकरियां दी गई है और ये नौकरियां बिना किसी सिफारिश के दी गई है।
शिक्षा व्यवस्था में होगा बदलाव
सीएम मान ने कहा कि शिक्षा व्यवस्था में बदलाव समय की मांग है। उन्होंने कहा कि हम 6वीं और 7वीं कक्षा में बच्चों को फीस माफी की शिक्षा देना शुरू करें। लेकिन अब इसका तरीका बदला जाएगा।
फीस माफी में अब बच्चों को उधार में स्कूल फीस देना सिखाया जाएगा। पढ़ाई के बाद ब्याज समेत स्कूल फीस वापस की जाएगी। सीएम मान ने कहा कि आने वाले समय में ये बदलाव किए जाने वाले हैं।
बदली जाएगी पढ़ाई व्यवस्था
सीएम मान ने कहा कि अमेरिका और विदेशों में कुछ भी गलत नहीं है, क्योंकि बच्चों को सोचने का मौका दिया जाता है। वहां पर वे पूछते हैं कि फास्ट फूड फायदेमंद है या नुकसानदायक।
अगर कोई सही कहता है तो हमें इसके फायदे बताने होंगे, अगर कोई हानिकारक कहता है तो हमें इसके नुकसानदायक होने के कारण बताने होंगे। बच्चों को दिमाग लगाने का मौका दिया जाना चाहिए। हम गाइड का पालन करते हैं, जो भी लिखा है वो सही है। बस उसे रट लें।
अब इसमें बदलाव किया जाएगा। हमें सिर्फ रटना, कॉपी करना और पकड़े जाने पर पर्ची काटना सिखाया जाता है। लेकिन अब इस व्यवस्था में बदलाव किया जाएगा।