आप के राज्यसभा सदस्य संजय सिंह ने शनिवार को दावा किया कि भाजपा और उसकी केंद्र सरकार दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की जिंदगी से खेल रही है, जिनका वजन 8.5 किलोग्राम कम हो गया है और जेल में रहने के दौरान उनका रक्त शर्करा स्तर पांच बार 50 एमजी/डीएल से नीचे चला गया। उनके दावों पर भाजपा की ओर से तत्काल कोई प्रतिक्रिया नहीं आई।
‘उनके साथ गंभीर घटना घट सकती है’
सिंह ने यहां एक संवाददाता सम्मेलन में कहा, ‘‘उनकी स्वास्थ्य स्थिति ऐसी है कि अगर उन्हें जल्द ही जेल से बाहर नहीं लाया गया और चिकित्सा सुविधा उपलब्ध नहीं कराई गई तो उनके साथ कोई भी गंभीर घटना घट सकती है।’’ उन्होंने कहा कि जब 21 मार्च को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने आबकारी नीति से जुड़े धन शोधन मामले में केजरीवाल को गिरफ्तार किया था, तब उनका वजन 70 किलोग्राम था।
वजन घटकर 61.5 किलोग्राम रह गया
उन्होंने दावा किया कि अब उनका वजन घटकर 61.5 किलोग्राम रह गया है। सिंह ने दावा किया कि उनके लगातार घटते वजन का कारण अज्ञात है, क्योंकि कोई जांच नहीं की जा सकी। उनका कहना है कि यह वजन घटना किसी गंभीर बीमारी का संकेत है। उन्होंने कहा कि केजरीवाल का परिवार, आप और उनके शुभचिंतक जेल में उनकी स्वास्थ्य स्थिति को लेकर चिंतित हैं।
केंद्र का उद्देश्य- उनके जीवन से खेलना
उन्होंने आरोप लगाया, “भाजपा और उसकी केंद्र सरकार का उद्देश्य उन्हें जेल में रखना और उनके जीवन से खेलना है। वे साजिश रच रहे हैं ताकि उन्हें गंभीर स्वास्थ्य समस्याओं का सामना करना पड़े।” दिल्ली के मुख्यमंत्री को शुक्रवार को ईडी द्वारा दर्ज मामले में सुप्रीम कोर्ट से अंतरिम जमानत मिल गई थी। हालांकि, सीबीआई द्वारा आबकारी नीति “घोटाला” मामले में उनकी गिरफ्तारी के कारण वे अभी भी जेल में हैं।
मै खुद जेल के अंदर रहा हूं: आप नेता
उन्होंने कहा, कौन-सा डॉक्टर रात की ड्यूटी जेल के अंदर करता है. मैं खुद जेल के अंदर रहा हूं. सवाल यह है उनके (केजरीवाल) साथ यह सब क्यों किया जा रहा है. ED के मामले में व्यक्ति को जमानत तभी मिलती है, जब अदालत को लगता है कि व्यक्ति निर्दोष है । अरविंद केजरीवाल जी को भी कोर्ट ने जमानत दी और यह मानकर दी कि वह निर्दोष हैं. सुप्रीम कोर्ट ने भी अपने फ़ैसले में कहा है कि पूछताछ का मतलब यह नहीं है कि पूछताछ के लिए आप किसी को भी गिरफ़्तार कर लें. इसके साथ ही उन्होंने ED की जांच पर कई और भी सवाल उठाए हैं. कानून और नियमों को ताकत पर रखकर अरविंद केजरीवाल की रिहाई पर ED ने स्टे ले लिया गया था और जब ऐसी उम्मीद थी कि सुप्रीम कोर्ट से राहत मिल जाएगी, उससे पहले सीबीआई का मनगढ़ंत की केस केजरीवाल के खिलाफ बनाया गया ताकि केजरीवाल के जीवन और स्वास्थ्य के साथ खिलवाड़ किया जा सके।